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चीनी माल और देशभक्त बहिष्कार !

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चीनी माल और देशभक्त बहिष्कार !

दोस्तों, आजकल सोशल साइट्स पर आपकी देशभक्ति चीनी झालर और चीनी पटाखों के इस दीपावली पर प्रयोग न करने पर आंकने का निर्देश कमलगट्टों, भक्तों, गुबरैलो, संघियों की ओर से जारी किया जा रहा है. आपकी देशभक्ति को आंकने वाले इन भक्तों से ये सवाल कीजिये !

उनसे पूछिये अगर चीन का माल खरीदना, चीन से सम्बन्ध रखना, चीन यात्रा करना, चीन को कैसा भी फायदा पहुँचाना, चीनियों से संपर्क रखना देशद्रोह की श्रेणी में आने लगा है, तो आपकी रची देशद्रोह की इस नवीन परिभाषा के अनुसार नीचे उल्लेखित कृत्यों और व्यक्तियों को भी क्यों न देशद्रोही मान लिया जाये.




1. चित्र एक में चीनी कंपनियों के CEOs को भारत बुलाकर उत्पादन करने, मेक इन इंडिया को सफल बनाने, FDI के द्वारा भारत में इन्वेस्टमेंट लाने के लिए कौन देशद्रोही प्रयासरत है ?

2. देशद्रोही पार्टी की सरकार के प्रयासों से चित्र दो में उल्लेखित कंपनियां भारत बुलाई गई हैं, इनके दफ्तर गुड़गांव, गुजरात, दिल्ली, नॉएडा और भारत के अन्य बड़े उद्योग और व्यापार प्रधान नगरों में स्थापित किये गए हैं. इनको NOC किस देशद्रोही ने प्रदान की ? इनको ज़मीने, कार्यालयों हेतु दफ्तर और काम करने के परमिट और ठेके किन देशद्रोहियों ने प्रदान किये ?




3. चीनी कंपनियों Lenovo, Huawei, Haier, TCL आदि के महंगे लैपटॉप, कंप्यूटर्स, इलेक्ट्रॉनिक devices, इलेक्ट्रिकल एप्लायंसेज, पुर्ज़े और दूसरे कॉस्टली आइटम्स किन देशद्रोहियों ने खरीदे थे ? किन देशभक्तों ने अपने ऐसे आइटम्स को सड़कों पर फ़ेंक दिया, तोड़ दिया या जला दिया ?

4. चीनी कंपनी Fibrehome Technologies भारत की सरकारी कंपनियों GAIl, Railtel, PGCIL और MTNL को भी अपनी सेवाएं प्रदान करती है. First Optical फाइबर बनाने वाली इस कंपनी की सेवाओं, टेक्नोलॉजी और प्रॉडक्टस के बिना इन सरकारी ही नहीं अनेकों प्राइवेट कंपनियों का एक दिन का काम भी नहीं चलेगा तो कितने भक्त इन सरकारी और गैर सरकारी कंपनियों की सेवाओ का बहिष्कार कर रहे हैं ?




5. जिआंगसु ओवरसीज ग्रुप एक चीनी कंपनी है, जिसका भारत स्थित कार्यालय दिल्ली में स्थित है. ये कंपनी भारत में चीनी मिनरल्स, मेटल्स, फार्मक्यूटिकल्स इंडस्ट्री में प्रयुक्त विभिन्न तत्व, पौधे और उनसे संबंधित तकनीकी, एग्रो केमिकल्स, रॉ-मैटेरियल्स, मेडिकल इक्विपमेंट्स और भारतीय मेडिकल इक्विपमेंट्स के लिए पुर्ज़े और तकनीक, विभिन्न इंडस्ट्रीज के लिए इंजीनिरिंग और तकनीकी ज्ञान भी उपलब्ध कराती है. तो कितने भक्त इस कंपनी के और उसकी सहायता से बने अन्य उत्पादों, सेवाओं और सुविधाओं को त्याग दिए हैं या त्यागने जा रहे हैं ?

6. चाइना शौगांग इंटरनेशनल ट्रेड एंड इंजीनिरिंग कारपोरेशन, CMIEC और CSGC आदि चीनी कंपनियां भारत में स्टील manufacturing और metallurgical प्रोडक्ट manufacturing और ऐसे उत्पादों को उपलब्ध कराती हैं, तो कमलगट्टे इन सब से प्राप्त प्रोडक्ट्स और सुविधाएं कब त्यागेंगे ?




7. शिव का निवास स्थान कैलाश मानसरोवर भी चीन में स्थित है तो कितने भक्त अब चीन द्वारा न्योता देने पर भी वहां की यात्रा का बहिष्कार करेंगे ? कितने संघी शिव का ओरिजिन चीन से सम्बंधित होने के कारण शिव भक्ति को ही त्यागेंगे ?

8. भारत के लौहपुरुष सरदार वल्लभ भाई पटेल की संसार में सबसे ज़्यादा 182 फुट ऊँची प्रतिमा स्थापित करने के लिए किस देश द्रोही ने चीनी कंपनी टीक्यू आर्ट फाउंड्री/ ज़िअंगजी तोकुआइन/ L एंड T को 3000 करोड़ रुपये का पेटी कॉन्ट्रैक्ट दिया था ? अरे वही Statue Of Unity जिसके लिए आपने लाखों करोड़ों का लोहा दान किया था, जिसे इन कंपनियों ने घटिया लोहा बताकर रिजेक्ट कर दिया था ? अब चीनी टेक्नोलॉजी से निर्मित और चीनी कलाकारों और अभियंताओं द्वारा असेम्बल होने वाली सरदार पटेल की मूर्ति का बहिष्कार कैसे करोगे मूर्खों ?




9. ब्रह्मपुत्र, सिंधु और अन्य नदियों जिनके उदगम स्रोत चीन में हैं, से आने वाले पानी, बिजली स्रोत, सिंचाई से उत्पन्न फसल और उससे बने प्रोडक्ट्स का बहिष्कार करने के आपके क्या प्रोग्राम हैं ?

तो मुद्दे की बात ये है कि चीन केवल पटाखों की लड़ियाँ और बिजली की झालर ही नहीं बनाता.

ज़रा पढ़ा लिखा करो और commonsense का प्रयोक भी कर लिया करो. चीनी स्रोत से आये सामान अब आपके डीएनए तक में समाये हैं उन्हें कैसे बहिष्कृत करोगे ?




मुझसे बहिष्कार की मांग करने से पहले अंतिम चित्र में हिंदुत्व की प्रयोगशाला में चीनी राष्ट्रपति को झूला झुलाने वाले सबसे बड़े देशद्रोही का बहिष्कार तो सबसे पहले कर लो.

अब जब चीनी सरदार पटेल की मूर्ति का अनावरण हो चुका है तो कोई माई का लाल चीनी माल का बहिष्कार करता पोस्ट नहीं पेल रहा है. ये ऐसे ही हैं मुद्दों को छोड़ भाग जाने वाले. कायर और दोगले.

  • फरीदी अल हसन तनवीर




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